Saturday, April 24, 2021

 


Sad shayari 💔






मै खुली किताब कि तरह हुँ, 

तुम मुझे पढ ही नही पाए,

मेरा प्यार तो सच्चा था,

लेकिन तुम समझ ही नही पाए। 

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